Tuesday 7 April 2009

(4) Short poem

महेफिल मे वह आय जब हम महफिल छोड चुके थे,
बात करने वह आय जब हम बोलना ही भुल चुके थे,
पुछने हाल वह आय जब हम बरदास भी कर चुके थे,
फुरसदभी तब मिलेगी जब हम ये जहा छोड चुके होगे,
शिल्पा प्रजापति...

2 comments:

  1. Wowwww....!!! tht's d whole shayari awesome... Nice Work Shilpa

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